माँ की पाती पुत्र को
..
बेटा कैसे हो
तुम्हारी याद बहुत आती है
तुम्हारा तुतलाना आज भी
कानो में गूंज जाता है
ठुमक ठुमक तुम्हारा चलकर आना
नज़रों के सामने घूम जाता है
बहुत दिन हुए न कोई पत्र न कोई फोन
क्या तुम्हें हमारी जरा भी याद नहीं आती
क्या पापा की तड़प तुम तक नहीं पहुँच पाती
जानती हूँ उन्हें जताना ना आया
पर क्या एक पुत्र पिता को
इतना भी ना समझ पाया
बहुत व्यस्त रहते हो ना काम में
शायद वक्त नहीं बूढ़े माँ बाप के लिए
समझने को उनके जज्बात के लिए
लेकिन क्या करु माँ हूँ ना
बिन दिल की बात कहे कैसे रहूँ
सो कह गयी भावनाओं में बह गयी
खुश रहो फलो फूलो हमारी दुआएं तुम्हारे साथ हैं
बस चन्द घडी तुमसे मिलने की आस है
ना आ सको तो एक कोई बात नहीं
अपनी आवाज की एक सीडी भिजवा देना
अपनी आवाज हमको तुम इसी तरह सुनवा देना
जब जब तेरी माँ उदास होगी
तब तब तू न सही तेरी आवाज तो हमारे पास होगी
तेरी हंसती किलकारियां फिर से कानो में जब पड़ जायेंगी
इन बूढ़े माँ बाप के जीवन में नए प्राण घोल जायेंगी
शुभाशीष बेटा तुम्हारे दो बोल सुनने को तरसती तुम्हारी माँ .
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बेटा कैसे हो
तुम्हारी याद बहुत आती है
तुम्हारा तुतलाना आज भी
कानो में गूंज जाता है
ठुमक ठुमक तुम्हारा चलकर आना
नज़रों के सामने घूम जाता है
बहुत दिन हुए न कोई पत्र न कोई फोन
क्या तुम्हें हमारी जरा भी याद नहीं आती
क्या पापा की तड़प तुम तक नहीं पहुँच पाती
जानती हूँ उन्हें जताना ना आया
पर क्या एक पुत्र पिता को
इतना भी ना समझ पाया
बहुत व्यस्त रहते हो ना काम में
शायद वक्त नहीं बूढ़े माँ बाप के लिए
समझने को उनके जज्बात के लिए
लेकिन क्या करु माँ हूँ ना
बिन दिल की बात कहे कैसे रहूँ
सो कह गयी भावनाओं में बह गयी
खुश रहो फलो फूलो हमारी दुआएं तुम्हारे साथ हैं
बस चन्द घडी तुमसे मिलने की आस है
ना आ सको तो एक कोई बात नहीं
अपनी आवाज की एक सीडी भिजवा देना
अपनी आवाज हमको तुम इसी तरह सुनवा देना
जब जब तेरी माँ उदास होगी
तब तब तू न सही तेरी आवाज तो हमारे पास होगी
तेरी हंसती किलकारियां फिर से कानो में जब पड़ जायेंगी
इन बूढ़े माँ बाप के जीवन में नए प्राण घोल जायेंगी
शुभाशीष बेटा तुम्हारे दो बोल सुनने को तरसती तुम्हारी माँ .
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